लॉयन न्यूज,बीकानेर,25 मई। प्रदेश में कांग्रेस में जारी सियासी घमासान के बीच अब सुर-सुर बदले नजर आ रहे है। फिर चाहे वो प्रदेश प्रभारी रंधावा हो या फिर सीएम अशोक गहलोत। दिल्ली में बैठक के लिए प्रदेश कांग्रेस के नेता दिल्ली पहुंचने लग है। पायलट पहले से ही दिल्ली में है ओर मई अंत तक का अल्टीमेटम दे चुके है। इन सबके बीच अब कांग्रेस में अच्छे संकेत मिलने शुरू हो गए है।
प्रदेश प्रभारी सुखजिंदर सिंह रंधावा जो कि बीते लम्बे समय से सचिन पायलट पर जमकर हमला कर कर रहे थे। उनके भी सुर बदले-बदले नजर आ रहे है। रंधावा पायलट के प्रति सॉफ्ट नजर आ रहे है। कभी अनशन को लेकर कार्रवाई का नोटिस तक की बात करने वाले रंधावा अब एक जाजम पर आने की बात कर रहे है।

 

रंधावा ने कहा कि सचिन पायलट का अल्टीमेटम कांग्रेस आलाकमान से नहीं है बल्कि सीएम अशोक गहलोत से है। ऐसे में उनका जवाब वहीं देंगे। इसके साथ ही रंधावा पायलट को अपना छोटा भाई बताकर बात को ढ़कने का कई मर्तबार प्रयास कर चुके है। इन सब बयानों से संकेत मिल रहे है कि कांग्रेस आलाकमान सचिन पायलट को लेकर कुछ अलग सोच रखता है और जैसे राहुल गांधी ने कहा था कि पायलट कांग्रेस के लिए एसेटस है। कल होने वाली बैठक से पहले इस तरह के बदले सुर बताने के लिए काफी है कि जल्द ही प्रदेश कांग्रेस में अच्छे दिनों की शुरूआत हो सकती है।

 

इसे सीएम गहलोत के बयानों से भी समझा जा सकता है। जब सीएम गहलोत पायलट के नाम से ही आग बबूला हो जा रहे थे। वहीं अब वो कह रहे है कि कांग्रेस एकजुट है। पायलट के अल्टीमेटम के बारे में गहलोत ने कल कहा- मीडिया बातों को ज्यादा फैला देता है, हम उस पर विश्वास नहीं करते हैं। हम मानते हैं कि पूरी कांग्रेस एकजुट होकर लड़े, हम चुनाव जीतकर आएंगे। गहलोत ने चुनावी बैठक पर कहा- हमारे यहां तो अनुशासन होता है, एक बार हाईकमान जो तय कर देता है, उस फैसले को सब मानते हैं। पहले सोनिया थीं, अब खडग़े साहब हैं, राहुल गांधी हैं, ये जब एक बार फैसला कर लेते हैं तो सभी लोग उनके फैसले को मानते हैं और सब अपने अपने काम पर लग जाते हैं। ऐसे में माना जा रहा है कि दिल्ली में होने वाली बैठक के बाद अच्छे दिन आ सकते हैं।