लॉयन न्यूज, नागौर। हल्दीघाटी में स्वामी जगदीश गोपाल जी महाराज की शिष्या साध्वी आस्था गोपाल दीदी 6 साल से कथावाचन कर रही है। वे अपने गुरुदेव के साथ गौकथा, गौ राम कथा, गौ भगवत कथा, भगवान देवनारायण कथा और नानीबाई का मायरा की कथा करती हैं। मूल रूप से महाराष्ट्र की रहने वाली साध्वी आस्था गोपाल दीदी कम्प्यूटर इंजीनियरिंग में बीटेक की डिग्रीधारी है और 2015 में संन्यास लेकर गौ सेवा में जुट गई।

शुरुआत से ही पढ़ाई में रही टॉपर…
7 जून 1995 को जन्मी महिमा शुरुआत से ही पढ़ाई में टॉपर रही हैं। पेशे से टीचर पुरुषोत्तम सेवक और टीचर जयमाला शर्मा की बेटी महिमा शर्मा ने 20 साल की उम्र में साध्वी के रूप में दीक्षा ग्रहण की। राजस्थान के बड़ोदिया में जुलाई 2015 को हजारों श्रद्धालुओं और संतों की मौजूदगी के बीच दीक्षा महोत्सव का आयोजन हुआ। जिसमें संत जगदीश गोपाल महाराज से गुरु दीक्षा लेकर वे महिमा से आस्था गोपाल दीदी बन गईं। महिमा को देखने हजारों की तादाद में भीड़ उमड़ी थी। महिमा को दीक्षा लेते देख उसके फैमिली मेंबर्स रो पड़े थे। उसके भाई और चाचा भी टीचर हैं।

इसलिए चुनी वैराग्य की राह
भगवत भक्ति और गोसेवा परिवार के साथ संभव नहीं। परिवार में दायरा सीमित रह जाता है।  आजीवन शादी नहीं करूंगी। माता-पिता को बताया और वे इकलौती बेटी को विदा करने को राजी हो गए। हम कहने मात्र से हिन्दू नहीं बन जाते। इसके लिए धर्म का पूरी तरह से पालन करना होगा।