लॉयन न्यूज, बीकानेर/कोटा। पूरे राजस्थान को झकझोर देने वाले कोटा महिला हत्याकांड में न्यायालय ने फैसला सुनाया है। हत्या के बाद महिला का पेट चीरकर उसमें कपड़े भर देने और फिर शव को तार से बांधने वाले आरोपित को फांसी की सजा सुनाई गई है। कोटा के न्यायाधीश कैलाशचंद मिश्रा ने अपने रिटायरमेंट के एक दिन पहले शुक्रवार को फैसला सुनाते हुए आरोपित पर 20 हजार रुपए का जुर्माना भी लगाया है।

क्या है कोटा महिला हत्याकांड
बता दें कि 24 मई 2019 को कोटा के विज्ञान नगर थाना इलाके के एक सरकारी स्कूल परिसर में महिला का बोरी में बंद नग्न शव मिला था। मर्डर पूरी तरह ब्लाइंड था। जांच में जुटी पुलिस ने मुखबिर की सूचना के आधार पर महावीर उर्फ मोहन को कुन्हाड़ी इलाके से गिरफ्तार किया, जो एक साइको किलर था। उसने वारदात को अंजाम देने की वजह का खुलासा किया तो पुलिस भी चौंक गई।

रेप ना कर सका तो किया मर्डर
विशिष्ट लोक अभियोजन सुरेश वर्मा ने बताया कि पुलिस पूछताछ में आरोपित महावीर सिंह ने बताया था कि उसने महिला से दुष्कर्म का प्रयास किया था। सफल नहीं होने पर हत्या कर दी थी। फिर उसका पेटा चीरा और उसमें कपड़े भरकर तार से बांध दिया। शव को बोरी में भरकर सरकारी स्कूल में फेंक दिया।

सीसीटीवी फुटेज से खुलासा
हत्या के खुलासे की जांच में जुटी पुलिस को अभय कमांड सेंटर समेत कई जगहों के सीसीटीवी कैमरे की रिकॉर्डिंग खंगाली। इनमें एक शख्स कंधे पर बोरा रखकर सरकारी स्कूल की तरफ जाता दिखा, जिसकी पहचान महावीर के रूप में हुई। पुलिस ने महावीर को हिरासत में लेकर पूछताछ की। शुरुआत में तो वह पुलिस को गुमराह करता रहा। फिर सख्ती बरतने पर सच उगल दिया।

20 फरवरी को पूरी हुई बहस
महावीर सिंह की गिरफ्तारी के बाद पुलिस ने उसका न्यायालय में चालान पेश किया। गवाह और सबूतों के आधार पर 20 फरवरी को अंतिम बहस पूरी हुई तथा मोहन सिंह को धारा 302, 201 व 392 के तहत दोषी माना गया। कोर्ट ने शुक्रवार को उसकी फांसी की सजा का ऐलान किया।

23 साल पहले भी की थी हत्या
कोटा पुलिस की जांच में सामने आया था कि आरोपित महावीर सिंह साइको किलर है। वह महिलाओं को अपने जाल में फंसाकर उसके साथ रेप का प्रयास करता है। मना करने पर हत्या कर देता है। कोटा सूरसागर के उद्योग नगर थाना इलाके में करीब 23 साल पहले हुई मां-बेटी के ब्लाइंड मर्डर के सनसनीखेज मामले को भी इसी साइको किलर ने अंजाम दिया था।

निम्बाहेडा में की हत्या
2003 में भी आरोपी ने निम्बाहेडा में एक महिला के साथ बलात्कार कर उसकी हत्या कर दी थी। इस मामले में आरोपी को आजीवन कारावास की सजा हुई थी लेकिन सांगानेर ओपन जेल से आरोपी फरार हो गया था।