तपती दुपहरी में निकले तो ‘लाल’ होंगे बेहाल





शिक्षा विभाग ने इस बार शिविरा पंचाग का प्रारूप जारी कर शिक्षकों,अभिभावकों, शिक्षाविदें, शिक्षार्थियों तथा शिक्षण संस्थाओं से 15 मई तक सुझाव मांगे है। सरकार ने स्कूलों का समय 1 अप्रेल से 30 सितम्बर तक सुबह 8.05 से 2.10 बजे तक निर्धारित किया है। सरकार सीबीएसई पैटर्न पर 6 घंटे स्कूल लगाना चाहती है। इधर, पत्रिका ने इस बारें में लोगों की राय जानी तो उनका कहना था कि प्रदेश की भौगोलिक परिस्थिति, ग्रामीण अंचल में स्कूलों की दूरी जैसी स्थिति पर गौर करना चहिए था। दोपहर में 2 बजकर 10 मिनट पर बच्चा स्कूल से निकला तो उसे तापाघात हो सकता है। शिक्षा राज्य मंत्री भी कह चुके है कि राज्य में स्कूलों का समय 6 घंटे से कम नहीं किया जाएगा।
नन्हे बच्चों पर गर्मी का असर पड़ेगा

सरकारी स्कूलों विशेषकर ग्रामीण क्षेत्र में बच्चे स्कूलों में अपनी ढ़ाणियों से पहुंचते है। दोपहर बारह बजे बाद गर्मियों में तापमान की बढ़ोतरी शुरू होती है जो दोपहर 2 बजे तक परवान पर होती हेै। तपती रेत और गर्मी में बच्चा घर-ढाणी को निकला तो उसका बीमार पडना तय है।
आंकड़े बता रहे निरन्तर बढ़ोतरी
पिछले दो-तीन साल से फरवरी में ही तापमापी पर पारा चढ़ जाता है। इस वर्ष 22 फरवरी से तापमान मे बढ़ोतरी शुरू हुई जो 31 मार्च को 38.7 डिग्री तक जा पहुंचा। 1 अप्रेल को ही तापमान ने 40.8 डिग्री की छंलाग लगा ली। इस माह में 30 अप्रेल को तापमान 44.4 डिग्री अधिकतम रहा। अप्रेल में 14 दिन तापमान 40 डिग्री से अधिक ही रहा। जबकि बाकी दिनों में तापमान 35 से 40 डिग्री के बीच रहा। ग्रीष्मावकाश के बाद स्कूलें 21 जून को खुलेेगी एेसे में जून का आखिरी महिने का तापमान राज्य में जुलाई तक आने वाले मानसून से पहले 45 डिग्री के आसपास ही रहता है।एेसे में 5 से 14 साल तक के बच्चों पर बढ़े तापमान का असर उनके लिए तापाघात, लू, उल्टी , दस्त , डी हाईड्रेशन बीमारियों का कारण बना सकता है। चिकित्सक भी सावधानी बरतने की सलाह देते है।
तापमान ने तोड़े रिकॉर्ड
मई में तो तापमान ने पूरे प्रदेश में पिछले सारे रिकार्ड तोड़ दिए । एक मई को ही तापमान 45.8 डिग्री रहा। मई के पहले 10 दिनों में तापमान आकड़े बताते है कि मरू प्रदेश में तापमान अपने पिछले सारे रिकार्ड तोड़ रहा है-
दिनांकपारा
1 मई 45.8 डिग्री
2 मई 43.7 डिग्री
3 मई 41.8 डिग्री
4 मई 39.2 डिग्री
5 मई 31.5 डिग्री
6 मई 39.0 डिग्री
7 मई 42.5 डिग्री
8 मई 44.8 डिग्री
9 मई 45.4 डिग्री
10 मई 45.2 डिग्री
ये आंकड़े बढ़ते तापमान व ग्लोबल वार्मिग का असर बताते है।
चिकित्सकों का कहना
दोपहर में लू, तापघात, ब्रेन पर असर हो सकता है अधिक गर्मी से बच्चोंं में हाईपर पायरेक्सियां हो सकता है। ब्रेन को नुकसान पहुंच सकता है।